यह मंच आपका है आप ही इसकी गरिमा को बनाएंगे। किसी भी विवाद के जिम्मेदार भी आप होंगे, हम नहीं। बहरहाल विवाद की नौबत आने ही न दैं। अपने विचारों को ईमानदारी से आप अपने अपनों तक पहुंचाए और मस्त हो जाएं हमारी यही मंगल कामनाएं...
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Tuesday, December 6, 2011
शब्दिका --- --------------- पहले जूता फिर थप्पड़ अब पंखा क्या बात है ----- तयहै ये अंदर की बात है ---- ---------------------------- प्रकाश प्रलय कटनी ---
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