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Tuesday, January 22, 2013

छब्बीस जनवरी ----
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बलात
आँसुओं से भरी -
छब्बीस जनवरी ----
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रसोई
गैस की
नौटंकी से
तबियत हरी,,,
छब्बीस जनवरी ----
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उन्होंने
योग्यतानुसार
लोकतंत्र की
फसल चरी --
छब्बीस जनवरी ----
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कब,तक,
सहेंगे पाकी
मसखरी ---
छब्बीस जनवरी ----
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फिर
मुस्कराये
गड़करी ---
छब्बीस जनवरी ----
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घोटाला बाजों,
रिश्वतखोरों से डरी ---
छब्बीस जनवरी ----
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प्रगति
बधाई
अधमरी
छब्बीस जनवरी ----
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प्रकाश प्रलय
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